'आई राइज प्रोग्राम' के जरिए कृषि क्षेत्र में एक लाख युवाओं को प्रशिक्षित करेगी सिंजेन्टा इंडिया
सिंजेन्टा इंडिया ने ग्रामीण युवाओं की कृषि में भागीदारी बढ़ाने के लिए 'आई राइज' प्रोग्राम शुरू किया है। इसका उद्देश्य एक लाख युवाओं को प्रशिक्षित कर उनकी कृषि क्षमताओं को बढ़ाना और स्थायी आजीविका के अवसर प्रदान करना है
कृषि क्षेत्र में युवाओं की भागीदारी को बढ़ावा देने के उद्देश्य से एग्रो केमिकल और सीड्स कंपनी सिंजेन्टा इंडिया ने 'आई राइज' (इनकल्केटिंग रूरल इंडिया स्किल एन्हांसमेंट) प्रोग्राम की शुरुआत की है। इस प्रोग्राम के माध्यम से कंपनी का लक्ष्य ग्रामीण युवाओं को कृषि में शामिल करना, उनकी खेती से जुड़ी क्षमताओं को बढ़ाना, और उनके लिए स्थायी आजीविका के अवसर पैदा करना है। सिंजेन्टा का मानना है कि इस कार्यक्रम से किसानों की अगली पीढ़ी सशक्त होगी, जिससे भारत के कृषि क्षेत्र का पुनर्जीवन होगा और ग्रामीण समुदायों की निरंतर वृद्धि और समृद्धि सुनिश्चित की जा सकेगी। 'आई-राइज' के तहत 35 वर्ष से कम आयु के ग्रामीण युवाओं को पहले 30 दिनों का प्रशिक्षण और फिर दो महीने की इंटर्नशिप कराई जाती है, ताकि वह कृषि से जुड़े क्षेत्रों में रोजगार की तलाश कर सकें।प्रोग्राम के पहले चरण में सिंजेन्टा ने 25 हजार से अधिक ग्रामीण युवाओं की पहचान कर उन्हें प्रशिक्षित करने का लक्ष्य रखा है। इस पहल के अंतर्गत कंपनी का लक्ष्य 1 लाख ग्रामीण युवाओं तक पहुंचने का है।
दिल्ली के राष्ट्रीय कृषि विज्ञान परिसर (एनएएससी), आईसीएआर में सोमवार को इस प्रोग्राम की आधिकारिक शुरुआत की गई। इस अवसर पर सिंजेन्टा ग्रुप के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) जेफ रो ने 'आई राइज' ऑडियो विजुअल और पुस्तक का अनावरण किया। साथ ही प्रोग्राम के तहत प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले युवाओं को प्रमाणपत्र भी वितरित किए गए। प्रशिक्षुओं ने अपने अनुभव साझा किए और बताया कि इस प्रशिक्षण से उन्हें कैसे लाभ हुआ।
कार्यक्रम में अपने संबोधन में जेफ रो ने खाद्य सुरक्षा को मौजूदा समय का एक महत्वपूर्ण मुद्दा बताया और कहा कि कृषि क्षेत्र में अधिक फोकस किए बिना इस चुनौती का सामना नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि युवा इसमें महत्वपूर्ण योगदान दे सकते हैं और इसीलिए सिंजेन्टा इंडिया ने 'आई राइज' प्रोग्राम की शुरुआत की है। इसके तहत युवाओं को कृषि से जुड़े विभिन्न व्यवसायों के लिए प्रशिक्षित किया जाएगा, जिससे कृषि क्षेत्र में उनकी भागीदारी बढ़ सके। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यह कार्यक्रम ग्रामीण युवाओं को प्रशिक्षित कर उन्हें कृषि आधारित रोजगार से जोड़ने पर केंद्रित है, ताकि गांवों से हो रहे पलायन को रोका जा सके और कृषि में कुशल श्रमिकों की घटती संख्या की चुनौती का सामना किया जा सके। रो ने यह भी कहा कि सिंजेन्टा पहले भी कृषि विकास के लिए कई कार्यक्रम चला चुकी है और आगे भी इस दिशा में प्रयास जारी रहेंगे।
सिंजेन्टा ने 'आई राइज' की शुरुआत 2023 में एक पायलट प्रोजेक्ट के रूप में की थी, जिसका उद्देश्य 1000 ग्रामीण युवाओं को 3ई दृष्टिकोण (शिक्षा, रोजगार, और उद्यमिता) से प्रशिक्षित करना था। इस प्रोग्राम के तहत युवाओं को कृषि में शिक्षित कर उन्हें रोजगार और उद्यमिता के माध्यम से कृषि क्षेत्र में शामिल किया जाएगा। साथ ही उनकी आजीविका को बढ़ाने के लिए उन्हें प्रमुख किसान बनने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। यह प्रोग्राम चौधरी चरण सिंह राष्ट्रीय कृषि विपणन संस्थान (एनआईएएम), जयपुर, राजस्थान द्वारा मान्यता प्राप्त है और इसे सिंजेन्टा फाउंडेशन इंडिया द्वारा कृषि विश्वविद्यालयों, कृषि विज्ञान केंद्रों, और एनजीओ भागीदारों के सहयोग से कार्यान्वित किया जा रहा है।
इस मौके पर सिंजेन्टा इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के प्रबंध निदेशक एवं कंट्री हेड सुशील कुमार, पंजाब कृषि विश्वविद्यालय के सहायक निदेशक (संचार) डॉ. टीएस रियार, कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के निदेशक एक्सटेंशन डॉ. शैलेश मिश्रा, कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के निदेशक डीएमआई डॉ. सहदेव सिंह, वीएनएमकेवी - कृषि विश्वविद्यालय, परभणी, महाराष्ट्र के कुलपति डॉ. इंद्र मणि, और भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के उप महानिदेशक कृषि शिक्षा डॉ. आरसी अग्रवाल समेत कई अन्य अतिथि और कृषि विशेषज्ञ उपस्थित रहे।