पंजाब सरकार के आश्वासन के बाद हाईवे से हटे किसान संगठन
खाद्य आपूर्ति मंत्री लाल चंद कटारूचक और कृषि मंत्री गुरमीत सिंह खुड्डियां के आश्वासन के बाद किसान नेताओं ने हाईवे खाली करने पर सहमति जताई। पंजाब के संगरूर, मोगा, कपूरथला और गुरदासपुर में शनिवार से किसान हाईवे जाम कर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे थे।
पंजाब में धान की खरीद और उठान को सुचारू बनाने के राज्य सरकार के आश्वासन के बाद किसान संगठनों ने हाईवे से जाम हटाने का ऐलान किया है। हालांकि, किसानों का आंदोलन जारी रहेगा। किसान मजदूर मोर्चा और एसकेएम (नॉन पॉलिटिकल) के नेताओं ने कहा कि सरकार की ओर से एक-दो दिन में स्थिति सुधारने के आश्वासन के बाद सड़कों से जाम खोलने का फैसला किया गया है, लेकिन सड़क किनारे धरना जारी रहेगा। आने वाले दिनों में स्थिति में सुधार नहीं हुआ तो फिर से कड़े कदम उठाएंगे।
रविवार को पंजाब के खाद्य आपूर्ति मंत्री लाल चंद कटारूचक और कृषि मंत्री गुरमीत सिंह खुड्डियां के साथ बैठक के बाद किसान नेताओं ने हाईवे खाली करने पर सहमति जताई। पंजाब के संगरूर, मोगा, कपूरथला और गुरदासपुर में शनिवार से किसान हाईवे जाम कर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे थे। किसान नेताओं से बैठक के बाद धान की खरीद में तेजी आने की उम्मीद है। उधर, केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी ने भी कहा है कि पंजाब के किसानों का दाना-दाना उठाया जाएगा।
किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा, "केंद्र और राज्य सरकार ने धान की खरीद शुरू होने के 27 दिन बाद भी खरीद और उठाव को सुचारू बनाने के लिए कुछ खास नहीं किया।" किसान नेताओं ने मंडियों में नमी की शर्त पूरी करने के बावजूद उपज खरीद पर लगाए गए अवैध कट का मुद्दा भी उठाया। पंधेर के मुताबिक, मीटिंग में तय हुआ है कि सरकार उन किसानों को भरपाई करेगी जिनकी फसल आढ़तियों ने अधिक नमी के कारण एमएसपी से कम कीमत पर खरीदी है।
40 फीसदी धान का उठान
पंजाब में रविवार तक लगभग 50 लाख मीट्रिक टन धान मंडियों में आ चुका है जिसमें से करीब 20 लाख टन का उठाव किया गया है, जबकि 30 लाख मीट्रिक टन अभी भी मंडियों में पड़ा हुआ है। स्टोरेज की कमी और गोदामों से पिछले साल का अनाज खाली न होने से इस साल खरीद प्रकिया धीमी चल रही है।
डीएपी और पराली का मुद्दा भी उठाया
मंत्रियों के साथ बैठक में डीएपी की कमी के कारण किसानों को गेहूं की बुवाई में कठिनाइयों, पराली जलाने के आरोप में किसानों पर एफआईआर दर्ज करने और जुर्माना लगाने का मुद्दा भी उठाया। पंधेर ने कहा कि सरकार को खेतों में फसल अवशेषों के प्रबंधन के लिए ट्रैक्टर और डीजल उपलब्ध कराना चाहिए।
52 जगहों पर विरोध-प्रदर्शन जारी
पंजाब में धान खरीद में देरी को लेकर बीकेयू (एकता- उगराहां) का 52 जगह विरोध-प्रदर्शन जारी है। पिछले 11 दिनों से धान की खरीद और उठान में तेजी लाने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। भाजपा और नेताओं के आवास और कार्यालयों के अलावा टोल प्लाजा के सामने किसान धरने पर बैठे हैं।