सीएसआईआर ने बनाई मॉडर्न स्पेडिंग मशीन, ईंधन की लागत में आएगी कमी
केंद्रीय यांत्रिक अभियांत्रिकी अनुसंधान संस्थान, दुर्गापुर के सब्सिडियरी इंस्टीट्यूट ने ट्रैक्टर के साथ ही ट्रैक्टर चालित स्पेडिंग मशीन का विकास कर किसानों को इस पार्ट का एक और बेहतरीन विकल्प प्रदान किया है। अब तक की सबसे आधुनिक स्पेडिंग मशीन तैयार की गई है जो ट्रैक्टर की ईंधन की खपत को कम करती है ये मशीन किसानों के लिए काफी फायदेमंद है
किसी भी फसल के लिए खेत तैयार करने में सबसे महत्वपूर्ण प्रक्रिया में जुताई आती है और इस पर खर्च भी अधिक आता है। साथ ही इस काम में महंगा डीजल खर्च करने के अलावा दूसरा कोई विकल्प भी नहीं है। जुताई कृषि की मूल गतिविधियों में शामिल है, और अच्छी जुताई किसी भी फसल के उत्पादकता को बेहतर बनाने में मदद करती है। केंद्रीय यांत्रिक अभियांत्रिकी अनुसंधान संस्थान, दुर्गापुर के सब्सिडियरी इंस्टीट्यूट ने ट्रैक्टर के साथ ही ट्रैक्टर चालित स्पेडिंग मशीन का विकास कर किसानों को इस पार्ट का एक और बेहतरीन विकल्प प्रदान किया है। अब तक की सबसे आधुनिक स्पेडिंग मशीन तैयार की गई है जो ट्रैक्टर की ईंधन की खपत को कम करती है यह मशीन किसानों के लिए काफी फायदेमंद है क्योंकि देश की अभी तक की सामान्य स्पेडिंग मशीन में ट्रैक्टर की अधिक ऊर्जा व्यय होती है। जिससे जुताई के समय ट्रैक्टर के परिचालन में ईंधन की खपत काफी होती है, लेकिन नया विकल्प इस खर्च को कम करने में मददगार साबित होगा।
स्पेडिंग मशीन की खासियत
ट्रैक्टर चालित स्पेडिंग मशीन की खासियत यह है कि यह ट्रैक्टर के संचालन लागत को कम करके किसानों को आर्थिक रूप से सपोर्ट करती है। सीएसआईआर द्वारा तैयार यह स्पीडिंग सिस्टम का कंपन को कम करती है। और कंपन कम होने से ट्रैक्टर चालक को ट्रैक्टर चलाने में आसानी होती है। ड्राइविंग एक्सपीरियंस को बेहतर बनाने के लिए ये स्पेडिंग मशीन काफी कारगर साबित होगी। सीएसआईआर के निदेशक डॉ हरीश हिरानी ने इस ट्रैक्टर चालित स्पेडिंग मशीन के फंक्शन के बारे में बताया है। कि स्पेडिंग मशीन की तुलना में यह मिट्टी का संघनन (ढेला या टीले जैसी मिट्टी) न करके, यह मिट्टी को भुरभुरा यानी अच्छी तरह वायु को खींचने वाला बनाता है।स्पेडिंग मशीन ट्रैक्टर पीटीओ से संचालित होते हुए 540 रेट प्रति मिनट ( आरपीएम) की गति से घूम कर बड़ी ही आसानी से मिट्टी को काटकर जुताई कर देती है। इस स्पेडिंग मशीन से जुताई बहुत ही हल्की हो जाती है और ईंधन का खपत भी बिल्कुल कम हो जाता है।
ये स्पेडिंग मशीन को किसी भी 45 हॉर्स पावर के बराबर या अधिक शक्तिशाली इंजन के ट्रैक्टर के साथ इंस्टॉल किया जा सकता है। वरिष्ठ कृषि वैज्ञानिक डॉ प्रदीप राजन बताते हैं, मिट्टी की परतों पर कम संघनन की वजह से फसल काफी अच्छी होगी। इससे किसानों को बहुआयामी लाभ प्राप्त होंगे। यह बिल्कुल हाथ से मिट्टी काटने की प्रक्रिया को फॉलो करता है। भारत के छोटे और मध्यम किसान इसका प्रयोग कर लागत कम करके आर्थिक लाभ देने न पूरी तरह सक्षम है।