संजीव बालियान ने सीएम योगी को लिखी चिट्ठी, "पुलिस ने भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाने पर सुरक्षा हटाई"
पत्र में संजीव बालियान ने लिखा कि मुजफ्फरनगर पुलिस के भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने की वजह से मेरी समस्त सुरक्षा वापिस ले ली गई है।
पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता संजीव बालियान ने सोमवार को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर मुजफ्फरनगर पुलिस के रवैये की शिकायत की है। उन्होंने आरोप लगाया है कि मुजफ्फरनगर पुलिस के भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने की वजह से उनकी समस्त सुरक्षा वापस ले ली गई है।
सीएम योगी को लिखे पत्र में संजीव बालियान ने जनपद मुजफ्फरनगर के मंसूरपुर में एक मंदिर और धर्मशाला की जमीन को अधिकारियों की मिलीभगत से कब्जाने का आरोप लगाया है। पत्र में उन्होंने कहा, "खानुपुर गाँव में एक जमीन मंदिर एवं धर्मशाला के लिए मंसूरपुर डिस्टिलरी के कर्मचारियों के द्वारा खरीदी गई थी। पूर्व की सरकार के अधिकारियों से मिलीभगत कर यह जमीन डिस्टिलरी द्वारा अपने नाम दाखिल खारिज करा लिया गया था। 1 जनवरी को मुजफ्फरनगर पुलिस अधिकारियों के साथ साँठगांठ कर डिस्टिलरी द्वारा मंदिर एवं धर्मशाला की जमीन पर कब्जा कर लिया गया था और ग्रामवासियों पर झूठे मुकदमे दर्ज किए गए।"
इसके विरोध में 12 जनवरी को ग्रामवासियों के साथ संजीव बालियान खुद मंसूरपुर थाने गये थे। इससे पहले भी उन्होंने कई बार मुजफ्फरनगर पुलिस की संपत्ति विवाद में संलिप्तता की शिकायत पुलिस के आला अधिकारियों को की थी। बालियान ने सीएम योगी से अनुरोध किया कि आपकी जीवन यात्रा को देखते हुए मुझे विश्वास है कि मंदिर एवं धर्मशाला की जमीन कब्जाने के मामले में आप न्यायउचित कार्यवाही करेंगे।
पत्र में संजीव बालियान ने उनकी सुरक्षा हटाने का मुद्दा भी उठाया है। उन्होंने लिखा कि मुजफ्फरनगर पुलिस के भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने की वजह से मेरी समस्त सुरक्षा वापिस ले ली गई है। लोकसभा चुनाव के दौरान भी उन पर जानलेवा हमला हुआ था। अगर फिर से हमला हुआ तो इसकी जिम्मेदारी प्रदेश सरकार के अधिकारियों की होगी। अगर एक पूर्व केंद्रीय मंत्री के साथ पुलिस का यह व्यवहार है तो आम भारतीय जनता पार्टी कार्यकर्ता के क्या हालात होंगे।
संजीव बालियान भाजपा के प्रमुख जाट नेताओं में शुमार किए जाते हैं। उन्होंने 2014 और 2019 में मुजफ्फरनगर लोकसभा सीट से भाजपा का प्रतिनिधित्व किया और चौधरी अजित सिंह जैसे कद्दावर नेता को हराकर लोकसभा पहुंचे थे।