पीएम किसान योजना की 17वीं किस्त जारी, 9.26 करोड़ किसानों के खाते में 20 हजार करोड़ ट्रांसफर

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार, 18 जून को देशभर के 9.26 करोड़ किसानों के खातों में 17वीं किस्त के रूप में 20 हजार करोड़ रुपये जारी किए। इस दौरान उन्होंने स्वयं सहायता समूहों की 30 हजार से अधिक महिलाओं को कृषि सखी के रूप में प्रमाण पत्र भी जारी किए।

प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की 17वीं किस्त के रूप में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार, 18 जून को देशभर के 9.26 करोड़ किसानों के खातों में 20 हजार करोड़ रुपये ट्रांसफर किए। इसके साथ ही प्रधानमंत्री ने स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) की 30 हजार से अधिक महिलाओं को कृषि सखी के रूप में प्रमाण पत्र भी जारी किए। इस दौरान प्रधानमंत्री ने तीन करोड़ लखपति दीदियां बनाए जाने के संकल्प को भी दोहराया। उन्होंने कहा कि सरकार किसानों और ग्रामीण अर्थव्यवस्था के विकास के लिए प्रतिबद्ध है। वाराणसी में किसान सम्मेलन में यह किस्त जारी की। प्रधानमंत्री के उद्बोधन का बड़ा हिस्सा वाराणसी और पूर्वांचल में हो रहे विकास कार्यों पर केंद्रित रहा।

प्रधानमंत्री ने चुनाव में काशी की जनता के भारी समर्थन के लिए उनका धन्यवाद भी किया। उन्होंने कहा कि काशी के लोगों ने मुझे लगातार तीसरी बार अपना प्रतिनिधि चुनकर धन्य कर दिया है। उन्होंने कहा कि मैने किसान, नौजवान, नारी शक्ति को इन्हें विकसित भारत का मजबूत स्तंभ माना है। इसलिए मैंने सरकार बनने के बाद सबसे पहले इन्हीं को प्राथमिकता में रखा और किसानों के हित में फैसला लिया। उन्होंने कहा कि पीएम किसान सम्मान निधि दुनिया की सबसे बड़ी ट्रांसफर निधि बन चुकी है। कृषि निर्यात को बढ़ावा देने के कदमों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि मेरा सपना है दुनिया की हर डाइनिंग टेबल पर भारत का कोई न कोई खाद्यान्न यानी फूड प्रोडक्ट होना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने कहा कि माता-बहनों के बिना खेती की कल्पना संभव नहीं है। बहनों की भूमिका का विस्तार किया जा रहा है। कृषि सखी कार्यक्रम ऐसा ही एक प्रयास है। उन्होंने कहा कि किसानों की मदद के लिए कई बहनों को प्रशिक्षित किया गया है ताकि वे खेती में विभिन्न कार्यों के माध्यम से किसानों का सहयोग कर सकें और सालाना लगभग 60-80 हजार रुपये की अतिरिक्त आय प्राप्त कर सकें। इसके साथ ही उन्होंने काशी में बनास डेयरी संकुल का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि बनास डेयरी ने पशु पालकों का भाग्य बदलने का काम किया है। डेढ़ साल में काशी के 14 हजार पशु पालक बनास डेयरी से जुड़े हैं। जिससे उनकी कमाई में वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि आगे 16 हजार नए पशु पालकों को जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है।  

इससे पहले केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि कृषि भारतीय अर्थव्यवस्था की रीढ़ है और किसान इसकी आत्मा है। किसानों और खेती के प्रति हमारी प्रतिबद्धता ही है कि पीएम मोदी ने प्रधानमंत्री बनने के बाद अगर किसी फाइल पर हस्ताक्षर किए तो वह किसान सम्मान निधि थी। उन्होंने कहा कि किसानों के लिए आगे भी इसी तरह कार्य किया जाएगा।