मसाला किसानों के लिए यह एक अच्छी खबर है। भारतीय मसाला बोर्ड (spices board of india) और फ्लिपकार्ट किराना की मेंटरशिप में मसालों की खरीद तथा देश भर के बाजार में पहुंचने में उनकी मदद की जाएगी। फ्लिपकार्ट ने स्पाइस बोर्ड के साथ देश के मसाला किसानों के लिए एक प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू किया है। केरल और तमिलनाडु में एक सौ किसानों और किसान उत्पादक संगठनों (FPO) के प्रतिनिधियों के साथ इस कार्यक्रम की शुरुआत होगी। बाद में कर्नाटक, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात और उत्तर प्रदेश के छोटे और सीमांत किसानों को भी प्रशिक्षण दिया जाएगा।
इस सिलसिले में फ्लिपकार्ट के समर्थ कार्यक्रम के एक हिस्से के तौर पर दोनों पक्षों में समझौते पर दस्तखत किए गए। इस कार्यक्रम के जरिए छोटे और मझोले मसाला किसानों की आमदनी बढ़ाने में मदद की जाएगी। फ्लिपकार्ट प्लेटफार्म उन किसानों के लिए अपने उत्पाद बेचने के काम आएगा। वॉलमार्ट के स्वामित्व वाले फ्लिपकार्ट ने एक बयान में कहा कि इस कार्यक्रम के तहत हार्वेस्टिंग की तकनीक, वेयरहाउसिंग और मेंटेनेंस, क्वालिटी कंट्रोल, पैकेजिंग और लॉजिस्टिक्स जैसे क्षेत्रों में मदद की जाएगी।
फ्लिपकार्ट और स्पाइसेस बोर्ड की साझेदारी में कश्मीरी केसर, शहद और लाकडोंग हल्दी को भी प्रोत्साहित किया जाएगा। वाणिज्य मंत्रालय के तहत कार्य करने वाला मसाला बोर्ड भारतीय निर्यातकों और विदेशी आयातकों के बीच अंतरराष्ट्रीय कड़ी है। कोविड-19 महामारी के बावजूद 2020 में भारत से मसालों का निर्यात बढ़ा है और पहली बार इसने चार अरब डॉलर का आंकड़ा पार किया। पिछले वित्त वर्ष में 15.31 लाख टन मसालों और मसाला उत्पादों का निर्यात किया गया जिसकी कीमत 4.1 अरब डॉलर (30,576 करोड़ रुपए) थी।
फ्लिपकार्ट की वाइस प्रेसिडेंट और ग्रॉसरी प्रमुख स्मृति रविचंद्रन ने कहा कि केरल में स्पाइसेस बोर्ड के आने से उपभोक्ताओं को अच्छी क्वालिटी के मसाले मिल सकेंगे। इससे मसाला किसानों को भी मदद मिलेगी। तकनीकी दक्षता को देखते हुए फ्लिपकार्ट डिजिटल यात्रा में किसानों की मदद करेगा। फ्लिपकार्ट ग्रॉसरी देश के 28 राज्यों के 1800 से अधिक शहरों में सेवाएं दे रही है। इसके 28 फुलफिलमेंट सेंटर हैं और बीते 2 वर्षों में इसने तेजी से अपना विस्तार किया है।
(लेखक नई दिल्ली में वरिष्ठ पत्रकार और पब्लिक पॉलिसी विश्लेषक हैं)